गोरखपुर, 11 दिसम्बर, 2024: वाराणसी-माधोसिंह-प्रयागराज रेलवे दोहरीकरण परियोजना के अन्तर्गत झूसी-प्रयागराज रामबाग खंड (5.404 किमी.) की 11 दिसम्बर,2024 को सफलतापूर्वक कमीशनिंग की गई। इस कार्य के पूर्ण होने से यात्री एवं माल यातायात के लिये रेल सम्पर्क और परिचालन दक्षता में वृद्धि होगी तथा सुचारू रूप से और अधिक कुशल ट्रेन संचालन की सुविधा होगी।
इस खंड का मुख्य आकर्षण नवनिर्मित महत्वपूर्ण पुल संख्या 111 और इसके एप्रोच वायडक्ट हैं। इस महत्वपूर्ण इन्फ्रास्ट्रक्चर का मुख्य रेल सुरक्षा आयुक्त (सी.सी.आर.एस.) श्री जनक कुमार गर्ग द्वारा गहन निरीक्षण एवं स्पीड ट्रायल किया गया, जिन्होंने विस्तृत निरीक्षण करने के बाद ट्रेनों की आवाजाही की अनुमति दी। मुख्य रेल संरक्षा आयुक्त के साथ मुख्य प्रशासनिक अधिकारी/निर्माण/पूर्वाेत्तर रेलवे श्री अभय कुमार गुप्ता के नेतृत्व में पूर्वाेत्तर रेलवे/मुख्यालय के अधिकारी, मंडल रेल प्रबन्धक/वाराणसी मंडल श्री विनीत कुमार श्रीवास्तव, वाराणसी मंडल के अधिकारी तथा कार्यकारी निदेशक/आर.वी.एन.एल. श्री विकास चंद्रा तथा मुख्य परियोजना प्रबन्धक (सी.पी.एम.)-।/ आर.वी.एन.एल./वाराणसी श्री वी.के. अग्रवाल उपस्थित थे।
वाराणसी-माधोसिंह-प्रयागराज खंड के पूरा होने से वाराणसी से प्रयागराज तक दोहरी लाइन सुनिश्चित हुई है, जिससे रेल सम्पर्क तथा परिचालन क्षमता में उल्लेखनीय वृद्धि होगी। इस परियोजना में रू 2,511.53 करोड़ की लागत आई, जिसमें 14 क्रॉसिंग स्टेशनों, 09 हॉल्टों का निर्माण तथा 157 छोटे पुल, 03 बड़े पुल, 04 रोड अंडर ब्रिज एवं 01 रोड ओवर ब्रिज का कार्य सम्मिलित हैं।