अलीगढ़ 5 सितम्बर रजनी रावत।नेत्रदान पखवाड़े में जे एन मैडिकल कॉलेज नेत्र विभाग ने नेत्रदान जागरूकता के वास्ते सौहार्दपूर्ण वातावरण में लगभग एक किलोमीटर लंबी पदयात्रा नारेबाजी (नेत्रदान महादान,औरों को रोशनी देना है, नेत्रदान करना है आदि) सहित निकाली। जोकि ओ पी डी से प्रोफेसर ए के अमिताव द्वारा हरी झंडी दिखाने पर शुरू हो ट्रॉमा सेंटर होते हुए, नेत्र विभाग जा कर समाप्त हुई। इससे पूर्व विद्यार्थियों ने आंखों में आंसू लाने वाला,हृदयस्पर्शी, प्रभाव पूर्ण जागरूकता के वास्ते नुक्कड़ नाटक पेश किया। इस अवसर पर देह दान कर्त्तव्य संस्था के अध्यक्ष डॉ एस के गौड़ ने उच्च बौद्धिक स्तर वाले विशाल समूह को सम्बोधित करते हुए कहा कि नेत्रदान क्यूँ ना करें?थोडे समय को अपनी आँखें बन्द कर कल्पना कीजिए कि ऐसे ही असंख्य लोग बिना आँखों
(कौरनिया)के वर्षों से प्रतीक्षा रत हैं कि जब कोई दान करे तब हम भी ईश्वरी अनुकम्पा वाली रंगीन दुनियां देख पायेंगे। ऐसा करने से दानी व्यक्ति या उसके परिवार का कैसा भी नुकसान नहीं होता। आप केवल सूचित करें,शेष कार्य बिना पारिवारिक व्यवधान के निशुल्क संस्था करेगी। डॉ गौड़ ने कहा कि मानवीयता हेतु सहयोगी बनने में कोई भी मजहब
( मुस्लिम, हिन्दू,सिक्ख या ईसाई) बाधक नहीं क्योंकि इन्सानियत सर्वोच्च है। उन्होंने कहा कि नेत्र दानी व्यक्ति को अगले जन्म में निश्चित ही आँखें मिलेंगी क्योंकि जाते जाते दो लोगों की जिंदगी रोशन कर दी। सफल संचालन डॉ मुहम्मद शाकिब ने अपने हार्दिक सहयोगी बन किया।कार्यक्रम सफल बनाने में एन सी सी कैडेट्स का अहम योगदान रहा। प्रोफेसर जिया सिद्दीकी, डॉ अदीब आलम,मुहम्मद साबिर एस एल ए,रजत सक्सेना, अजय राणा समाजसेवी दिलीप दामोदर वार्ष्णेय, जावेद आदि सहयोगी बने।