बरेली, 05 जनवरी
कंपकंपाती ठंड व कोहरे के बीच किसान अपने खेत में गन्ने की बुवाई कर चुका है, लेकिन उसे यह नहीं पता है कि अधिक उत्पादन लेने के चक्कर में उसको नुकसान भी हो सकता है यह कहना है जिला गन्ना अधिकारी यशपाल सिंह का।
गन्ना अधिकारी ने बताया कि हम किसानों से लगातर संपर्क कर उनको सुझाव दे रहे हैं। उत्पादन बढ़ाने के चक्कर कम गहराई व कम लाइन की दूरी पर गन्ने की बुवाई करते हैं। जिससे उनको फसल तैयार होने के बाद नुकसान भुगतना पड़ता है। जबकि किसान को गन्ने की बुवाई छह से आठ इंच की गहराई और बुवाई की लाइन की बीच की दूरी में 75 सेंटीमीटर गैप होना चाहिए। इससे उत्पादन पर फर्क पड़ेगा और पौधों को विकसित होने के लिए पर्याप्त वातावरण मिल जाएगा।
गन्ना अधिकारी ने कहा गन्ना खेती में उत्कृष्ट कार्य करने वाले प्रगतिशील कृषक और महिला स्वयं सहायता समूह कों मुख्यमंत्री से ईनाम भी पाया है। किसानों को गन्ने की फसल को लेकर लगातार जागरूक किया जा रहा है। अधिकतर क्षेत्रों के गांव में जाकर किसानों से मिलकर उनकी समस्या का समाधान कर रहे हैं। जिस किसान की फसल अच्छी होती है उस किसान को उन किसानों के बीच ले जाकर अच्छी फसल के बारे में जानकारी दी जा रही है। ऐसी सरकार की मुहिम चलाई जा रही है जिससे किसान की बात को किसान आसानी से समझ सके।
जिला गन्ना अधिकारी ने कहा कि अगर किसानों को गन्ने से संबंधित कोई भी शिकायत हो तो टोल फ्री नंबर पर शिकायत दर्ज कर सकते हैं। साथ ही बताया कि अगर कोई समस्या किसानों के साथ आ रही है तो कार्यालय आकर मुझसे संपर्क कर सकते हैं। किसानों की समस्याओं का त्वरित समाधान किया जाएगा। उन्होंने बताया बीते सत्र 2023 के गन्ने का लगभग सभी चीनी मिलों ने भुगतान कर दिया है किसी भी चीनी मिल पर गन्ने का बकाया नहीं है।