पटना, तेज पछुआ हवा ने बिहार के अधिकतर इलाकों के लोगों को ठिठुरा दिया है। इसकी वजह से लोगों को गलन और कनकनी महसूस हो रही है। राजधानी पटना सहित अन्य इलाकों के न्यूनतम तापमान में गिरावट आने के साथ ठंड में वृद्धि दर्ज की गई है। पटना में बुधवार को अधिकतम तापमान में भारी गिरावट दर्ज की गई है। अधिकतम तापमान में कमी के कारण सुबह और शाम में कनकनी का प्रभाव बना हुआ है। इधर, ठंड के कारण पटना के स्कूलों के समय में भी परिवर्तन किया गया है। पटना जिले में अधिक ठंड तथा विशेष रूप से सुबह और शाम के समय कम तापमान की स्थिति है, जिसके कारण बच्चों के स्वास्थ्य और जीवन पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ने की संभावना है। पटना के जिलाधिकारी चंद्रशेखर सिंह ने छह जनवरी तक सभी निजी, सरकारी विद्यालयों सहित आंगनबाड़ी केंद्रों में सभी कक्षाओं के लिए शैक्षणिक गतिविधियों पर पूर्वाह्न नौ बजे से पहले एवं अपराह्न चार बजे के बाद संचालन पर रोक लगा दिया है। हालांकि प्री-बोर्ड, बोर्ड की परीक्षा हेतु संचालित किए जाने वाली विशेष कक्षाओं, परीक्षाओं का संचालन इससे मुक्त रखा गया है। पटना मौसम विज्ञान केंद्र ने अपने पूर्वानुमान में कहा है कि पूरे राज्य में कोहरा अथवा कुहासे की स्थिति बनी रहेगी। बिहार में दिन में कोहरा या कुहासे की एक विशेष परिस्थिति बन रही है, जिसकी वजह से बिना बादल के सूरज का दिखना मुश्किल हो गया है। मौसम वैज्ञानिकों के मुताबिक अधिकतम तापमान और न्यूनतम तापमान में ज्यादा अंतर नहीं होने के कारण लोग दिन में भी ठंड का एहसास करेंगे। राज्य के अधिकतर क्षेत्रों में अगले एक दो दिनों में तापमान में और गिरावट की संभावना है, जिससे और ठंड बढ़ सकती है।
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