गोरखपुर, 03 जून, 2024: प्रमुख मुख्य संरक्षा अधिकारी श्री मुकेश मेहरोत्रा की अध्यक्षता में परिचालन विभाग के आपदा प्रबन्धन कक्ष में संरक्षा विभाग की विभागीय राजभाषा समीक्षा बैठक का आयोजन 03 जून, 2024 को किया गया।
विभागीय राजभाषा समीक्षा बैठक को सम्बोधित करते हुए प्रमुख मुख्य संरक्षा अधिकारी श्री मुकेश मेहरोत्रा ने कहा कि पूर्वोत्तर रेलवे हिन्दी के प्रयोग-प्रसार की दिशा में सदैव अग्रणी रहा है तथा अन्य रेलों का मार्ग दर्शक एवं प्रेरणा स्त्रोत भी रहा है। श्री मेहरोत्रा ने कहा कि राजभाषा के प्रयोग में अन्य विभागों की तुलना में संरक्षा विभाग की अहम भूमिका है। संरक्षा के दृष्टिकोण से संरक्षा विभाग का सम्पूर्ण कार्य क्षेत्र हिन्दी भाषी क्षेत्र में आता है। उन्होंने कहा कि संरक्षा विभाग के सभी अधिकारी एवं कर्मचारी अपना अधिकतम कार्य हिन्दी में कर रहे हैं। समीक्षा बैठक इसलिये आयोजित की जाती है कि हम सभी मिलकर हिन्दी में कार्य करने में आने वाली व्यवहारिक कठिनाईयों और उन्हें दूर करने के उपायों पर चर्चा कर सकंे।
हम सभी जब स्वयं चाहेगे तभी कार्यों में सुधार होगा। उन्होंने निर्देश दिया कि सभी अधिकारी अपना निरीक्षण रपट में हिन्दी में जारी करने के साथ ही उसमें हिन्दी में पैरा अवश्य दें तथा इसकी एक प्रति राजभाषा विभाग को भी भेजे। श्री मेहरोत्रा ने कहा कि विभागीय राजभाषा समीक्षा बैठक का आयोजन नियमित रूप से किया जाना आवश्यक है क्यों कि बैठक के माध्यम से हम अपना ज्ञान एक दूसरे से बाँट सकते है तथा राजभाषा पर चर्चा करके उसमें और सुधार कर सकते हंै। उन्होंने आशा व्यक्त की कि सभी अधिकारी एवं कर्मचारी अपने कार्यालयी कार्यों में राजभाषा के प्रयोग को और बढ़ायेंगे तथा नये आयाम स्थापित करेंगे।उप मुख्य संरक्षा अधिकारी एवं राजभाषा सम्पर्क अधिकारी/संरक्षा श्री कार्तिकेय सिंह ने अपने स्वागत सम्बोधन में कहा कि संरक्षा विभाग में राजभाषा हिन्दी में कार्य करने की विशेष आवश्यकता है, जिसके लिये समीक्षा बैठक का आयोजन नियमित किया जाना आवश्यक है। उन्होंने संरक्षा विभाग में हो रहे राजभाषा संबंधी गतिविधियांे का विस्तृत विवरण प्रस्तुत किया।बैठक में वरिष्ठ अनुवादक श्री नागेश्वर नाथ श्रीवास्तव ने गूगल वायस टाइपिंग पर डेमो दिया। धन्यवाद ज्ञापन वरिष्ठ परिवहन प्रबन्धक/संरक्षा ने तथा समन्वय श्री राकेश कुमार शर्मा ने किया। बैठक में मुख्यालय से राजभाषा अधिकारी मो. अरशद मिर्जा, संरक्षा कार्यालय के सभी अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित थे।